चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने 25 जुलाई को पेइचिंग जन वृहद भवन में चीन स्थित 16 विदेशी राजदूतों के प्रत्यय-पत्र स्वीकार किये।
शी चिनफिंग ने अलग-अलग तौर पर राजदूतों से प्रस्तुत प्रत्यय पत्र स्वीकार किये और उनके साथ फोटो खिंचवायी।
ये राजदूत वियतनाम, पनामा, न्यूजीलैंड, मिश्र, ईरान, यूक्रेन, अमेरिका, और इज़रायल समेत 16 देशों के हैं।
रस्म के बाद शी चिनफिंग ने राजदूतों के समक्ष भाषण दिया। शी ने उनके चीन में आने का स्वागत किया और उनके ज़रिये उनके देश की जनता को शुभकामनाएं पहुंचायी।
शी ने कहा कि चीन हमेशा विभिन्न देशों की जनता की मित्रता बहुमूल्य समझता है और पारस्परिक सम्मान, समानतापूर्ण बर्ताव, परस्पर लाभ तथा साझी जीत के आधार पर विभिन्न देशों के साथ चौतरफा सहयोग चलाना और विभिन्न क्षेत्रों में आवाजाही मजबूत करना चाहता है। वर्तमान में चीन चीनी आधुनिकीकरण से शक्तिशाली देश के निर्माण और राष्ट्रीय महान पुनरोत्थान बढ़ा रहा है और अर्थव्यवस्था निरंतर स्थिरता से आगे बढ़ रही है। चीन उच्च स्तरीय खुलेपन का विस्तार कर विशाल बाजार का लाभांश रिलीज़ करेगा ताकि चीन का नया विकास विभिन्न देशों के लिए नया मौका बन जाए।
शी ने बल दिया कि विश्व के अभूतपूर्व परिवर्तन के समक्ष विभिन्न देशों को पहले के किसी भी समय से अधिक एकता व सहयोग की ज़रूरत है। वर्तमान वर्ष चीनी जनता की जापानी अतिक्रमण विरोधी युद्ध और विश्व फासिस्ट विरोधी युद्ध विजय की 80वीं वर्षगांठ है और यूएन की स्थापना की 80वीं वर्षगांठ है। चीन विभिन्न देशों के साथ यूएन द्वारा केंद्रित अंतर्राष्ट्रीय व्यवस्था और अंतर्राष्ट्रीय कानून पर आधारित अंतर्राष्ट्रीय व्यवस्था की डटकर सुरक्षा कर मिलकर इस पृथ्वी का बेहतर भविष्य रचने को तैयार है।